आर्ट गैलरी बिज़नेस कैसे शुरू करें | How to Start an Art Gallery Business in Hindi

आर्ट गैलरी क्या है, व्यवसाय (Art Gallery Business, Plan, Model, License, Expenses, Investment, Profit, Marketing in Hindi)

भारत में रहने वाले नागरिकों को कला से बेहद सारा प्यार होता है जिसके चलते वे भारतीय कला को बहुत अधिक महत्व देते हैं. ऐसा नहीं है कि भारतीय कला के प्रेमी सिर्फ भारत में ही पाए जाते हैं बल्कि भारतीय कला के प्रेमी तो अलग-अलग देशों से भारत में आकर भारत की कला को सराहते हैं और अपनाते भी है. आज हम आपको बताने जा रहे हैं कि किस तरह से आर्ट गैलरी शुरू करके आप धन अर्जित कर सकते हैं. जैसे किसी भी व्यवसाय को आरंभ करने से पहले उससे जुड़ी सभी प्रक्रियाओं को जानना और समझना बेहद जरूरी होता है. ठीक इसी तरह से आर्ट गैलरी के व्यवसाय को आरंभ करने से पहले भी उसके बारे में विस्तार पूर्वक जानना आपके लिए बेहद अधिक महत्वपूर्ण है.

Art Gallery Business

Table of Contents

क्या है आर्ट गैलरी व्यवसाय (What is Art Gallery Business)

आर्ट गैलरी व्यवसाय एक ऐसा व्यवसाय होता है, जिसके अंतर्गत मुख्य रूप से काम करने वाले कलाकारों द्वारा बनाई गई कलाकृतियों को कला प्रेमियों तक पहुंचाने के कार्य से धन अर्जित किया जाता है. इसे आर्टगैलरी व्यवसाय कहा जाता है. आर्ट गैलरी इसलिए लगाई जाती है ताकि कलाकारों की बड़ी-बड़ी कलाकृतियों को बेचकर पैसा इकट्ठा किया जा सके और उनकी कलाकृतियों को देश व विदेश में विस्तृत भी की जा सके. आर्ट गैलरी स्टोर में कलाकारों को मौजूद रहने की अनुमति भी दी जाती है ताकि वे अपनी कला से जुड़े प्रेमियों से मिलकर उसने विचार विमर्श जान सके.

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कला के प्रकार (Types of Arts)

कला के विभिन्न प्रकार होते हैं मनुष्य किसी भी वस्तु को किसी नए रूप में ढाल देता है. तो उसे उसकी कला माना जाता है. यदि बात करें कला के विभिन्न प्रकारों की तो वे निम्नलिखित होते हैं :-

  • मिट्टी के पात्र बनाने वाली कला :- कुछ कलाकार ऐसे होते हैं जो मिट्टी को अलग-अलग रूपों में ढालकर मिट्टी के कई प्रकार के बर्तन, टाइल, मूर्तियां व टेबल वेयर आदि बनाते हैं. मिट्टी की मदद से कई प्रकार के अलग-अलग सजावट के सामान भी बनाए जाते हैं जो दिखने में बेहद खूबसूरत होते हैं. मिट्टी से निर्मित बर्तन व उत्पादों को आर्ट पॉटरी के नाम से भी जाना जाता है.
  • चित्रकारी :- अलग-अलग तकनीकों व उपकरण की सहायता से विभिन्न प्रकार के चित्र बनाने को भी कला कहा जाता है. जिसमें ग्रेफाइट पेंसिल, कलम और स्याही, करार ब्रश, मोम की रंगीन पेंसिल,  क्रेयॉन, चारकोल, पेस्टल और मार्करों एवं बॉल पेन की सहायता से विभिन्न चित्र बनाए जाते हैं. इन तस्वीरों को डिजिटल प्रभावों के द्वारा बदला जाता है और एक नया रूप भी दिया जाता है. जिनमें कुछ तकनीक हैचिंग, क्रॉस चेंजिंग, रेंडम हैंगिंग, स्क्रिबलिंग भी शामिल है.
  • फोटोग्राफी :- कुछ कलाकार ऐसे होते हैं जो प्राकृतिक व रचनात्मक दृश्यों की फोटोग्राफी करने का शौक रखते हैं. उनकी वे फोटोग्राफी इतनी ज्यादा खूबसूरत होती है कि उसे देखते ही लोग उनकी ओर आकर्षित हो जाते हैं. फोटोग्राफी करना भी कलाकार एक महत्वपूर्ण रूप है.
  • मूर्तिकारी :- मूर्ति बनाना हमारे पुराने इतिहास काल से ही चला आया है जिसमें पहले मिट्टी की मूर्तियां बनाई जाती थी फिर धीरे-धीरे प्लास्टिक और अलग-अलग धातुओं से बनी मूर्तियां बनाई जाने लगी. यह सभी मूर्तियां अलग-अलग प्रकार की नक्काशी वेल्डिंग या मॉडलिंग द्वारा बनाए जाते हैं जो दिखने में बेहद खूबसूरत होती हैं.
  • साहित्य कला :- साहित्य कला के अंतर्गत अनुभवी लोगों का लेखन सम्मिलित किया जाता है. कुछ लोगों को लिखने का बहुत ज्यादा शौक होता है जिसके चलते भी बड़ी-बड़ी किताबें और बड़ी-बड़ी कहानियां लिखते हैं जिनको बाद में वे पब्लिश करके उनकी प्रदर्शनी भी लगाते हैं. लेखकों व कवियों द्वारा लिखित पुस्तकें प्रदर्शनी के दौरान ऐसे लोग खरीदते हैं जिन्हें पढ़ने का बहुत ज्यादा शौक होता है.

आर्ट गैलरी खोलने के लिए उचित योजना (Art Gallery Business Plan)

व्यवसाय के किसी भी उपक्रमों की तरह आर्ट गैलरी खोलने के लिए भी एक बेहतर और उचित योजना की आवश्यकता होती है. जो व्यक्ति इस व्यवसाय को करना चाहता है उसे इस व्यवसाय के बारे में सभी प्रकार की सक्षम जानकारियां उपलब्ध होनी चाहिए. व्यवसाय को आरंभ करने से पहले उसे अपनी एक कुशल सदस्यों की टीम बनाकर बाजार में चलने वाली परिस्थितियों के बारे में कुछ जानकारी एकत्र करनी चाहिए. एक सफल व्यवसाय को सुचारू रूप से चलाने के लिए एक योजनाबद्ध तरीके से काम करना बेहद आवश्यक होता है. इस व्यवसाय में कई प्रकार की चुनौतियों का सामना उद्यमी को करना पड़ता है जैसे पूंजी, बाजार, आर्ट गैलरी के लिए सही स्थान चुनना आदि. यदि इन सब बातों के बारे में उद्यमी को पहले से ही जानकारी होगी तो वह कभी भी इन समस्याओं से अपने बिजनेस में कोई भी परेशानी उत्पन्न नहीं होने देगा.

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आर्ट गैलरी व्यवसाय को आरंभ करने के लिए आवश्यकतायें एवं उपकरण (Requirements and Equipment)

  • उद्यमी को अपनी कलाकृतियों की प्रदर्शनी लगाने के लिए अलग-अलग प्रकार के स्टैंड या दीवार पर बने हुए डिजाइन की आवश्यकता होती है.
  • इसके अलावा उनको अपनी प्रदर्शनी लगाने के लिए एक उचित स्थान पर एक उचित दुकान या कोई शोरूम उपलब्ध होना आवश्यक है.
  • उद्यमी के पास अच्छे कलाकृतियां बनाने वाले अच्छे कलाकार भी उपलब्ध होने चाहिए, ताकि उसका व्यवसाय दिन-प्रतिदिन बढ़ता रहे और लाभ कमा सके.

आर्ट गैलरी व्यवसाय के लिए उचित स्थान (Location)

आर्ट गैलरी व्यवसाय आरंभ करने के लिए उद्यमी को एक आदर्श स्थान की आवश्यकता होती है जहां पर वह आसानी से कला प्रेमियों तक पहुंच सके. उद्यमी को इस बात का ध्यान रखना बेहद आवश्यक होता है कि उसकी गैलरी एक ऐसे स्थान पर हो जहां पर कलाकृतियों के सर्वश्रेष्ठ खरीदार मौजूद हो.  सबसे महत्वपूर्ण बात यह है कि उद्यमी को अपनी गैलरी इतनी अधिक आकर्षित बनानी चाहिए कि खरीदार उनकी गैलरी तक स्वतः ही पहुंच जाएं. यदि छोटे पैमाने पर अपने व्यवसाय को आरंभ करने की सोच रही हैं तो उसके लिए आपके पास एक छोटी सी दुकान या छोटा सा शोरुम ही पर्याप्त है. एक बड़े पैमाने पर व्यवसाय आरंभ करने के लिए उद्यमी के पास स्थान भी उसी के अनुसार होना चाहिए.

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आर्ट गैलरी व्यवसाय को आरंभ करते समय होने वाले खर्च (Investment)

एक व्यवसाय को आरंभ करने के लिए कई सारे आधारभूत जरूरतें होती हैं जो व्यवसाय की प्रकृति और आकार पर निर्भर करती है. यदि कोई व्यक्ति अकेले किसी व्यवसाय को आरंभ करता है तो उसके लिए एक सीमित मात्रा में पूंजी से भी काम चल जाता है. परंतु यदि कई सारे व्यक्ति मिलकर एक सहकारी व्यवसाय आरंभ करते हैं, तो उसमें पूंजी की अधिक मात्रा भी जुटाई जा सकती है. इस व्यवसाय को आरंभ करने के लिए ज्यादा उपकरणों की आवश्यकता नहीं होती है इसलिए आरंभ में आप 1 लाख या डेढ़ लाख की राशि के साथ भी इस व्यवसाय को आरंभ कर सकते हैं. यदि आपके पास प्रदर्शनी लगाने के लिए अपनी दुकान पहले से ही मौजूद है तो आपको ज्यादा खर्च करने की आवश्यकता नही होगी. किन्तु फिर भी आर्ट गैलरी के व्यवसाय को आरंभ करने के लिए कुछ खर्च करना पड़ता है जिनकी हम यहां पर जानकारी दे रहे हैं.

  • जो स्थान अपनी कला को संग्रहित करने के लिए लिया गया हो, वहां का मासिक किराया देना,
  • काम करने के लिए रखे गए कर्मचारियों का मासिक वेतन,
  • संग्रहण केंद्र से बाजार व दुकानों तक सामान के आयात और निर्यात में लगने वाला परिवहन खर्च,
  • गैलरी लगाने के लिए किसी विशेष स्थान पर लगने वाले किराए का भुगतान करना,
  • भविष्य में व्यवसाय में किसी भी प्रकार की समस्याएं उत्पन्न हो सकती है जिनका पहले से सामना करने के लिए आपको व्यवसाय से जुड़ा बीमा कराना आवश्यक होता है.
  • प्रदर्शनी लगाने के लिए विशेष स्थान या मेलों में प्रदर्शनी लगाने के लिए किया जाने वाला खर्च आदि.
  • आप जिस राज्य में अपना व्यवसाय आरंभ करना चाहते हैं उस राज्य में जाकर राज्य सरकार द्वारा जारी किए गए लाइसेंस को अवश्य प्राप्त कर लें. जिसके लिए आपको एक सीमित शुल्क भी देना होता है.
  • यदि आप अपने व्यवसाय को सोशल मीडिया के जरिए मशहूर करना चाहते हैं तो उसके लिए आप अपने व्यवसाय से जुड़ी एक वेबसाइट बनाकर उसके लिए डोमेन की खरीद कर सकते हैं और पंजीकरण करके आप जल्द ही सोशल मीडिया के जरिए आप अपने व्यवसाय को देश में फैला सकते हैं.
  • व्यवसाय को कला प्रेमियों तक पहुंचाने के लिए विज्ञापन में लगने वाले खर्च का भी भुगतान उद्यमी को करना पड़ता है.
  • अपने स्टोर को आकर्षित बनाने के लिए साज सजावट का सामान खरीदने के लिए भी आपको उचित मात्रा में पूंजी का खर्च करना पड़ता है.
  • दुकान में लगने वाले फ्रेम और फर्नीचर जैसी वस्तुओं पर लगने वाले व्यय का भी वहन करना होता है.

आर्ट गैलरी व्यवसाय में उपभोक्ता के साथ संबंध (Consumer Relationship)

एक कला प्रेमी के साथ संबंध बनाने में अधिक समय नहीं लगता है यद्यपि आपके पास उसकी पसंद से जुड़ी सभी प्रकार की कलाकृतियां मौजूद है. एक कला प्रेमी अपनी पसंद से जुड़ी सभी वस्तुओं आसानी से तब ही ढूंढ पाता है जब आप उसे एक आकर्षित और उचित अवसर कलाकृतियों को प्राप्त करने का प्रदान कर पाते हैं. कला प्रेमी ऐसे होते हैं जो विभिन्न कला कार्यों के बारे में बहुत गहराई से जानते है, इसलिए वे किसी भी कलाकृतियों को खरीदने से पहले उसकी कला की गहन जांच करते हैं तभी उसे खरीदते हैं. इसलिए एक उद्यमी के लिए यह बेहद आवश्यक है कि वे कला प्रेमियों की पसन्द के बारे में गहराई से जानकर अपने स्टोर में उनकी पसंद से जुड़े कलाकृतियों को रखें ताकि उद्यमी और उपभोक्ता के बीच में एक दीर्घकालिक संबंध स्थापित हो सके.

इसके अलावा कुछ कला निवेशक भी कलाकृतियों को खरीदने का काम करते हैं, जो कलाकृतियों को खरीद कर आगे कला प्रेमियों तक पहुंचाते हैं इसलिए वे उद्यमी से उम्मीद करते हैं, कि वह उन्हें कम मूल्य पर कलाकृतियां उपलब्ध कराएं ताकि वह एक बड़ा मूल्य प्राप्त करके इन कलाकृतियों को बेचकर अधिक पैसा कमा सके.

आर्ट गैलरी व्यवसाय से पैसे कैसे कमाया जा सकता है (How to Earn Money)

आर्ट गैलरी के व्यवसाय में पैसे कमाने के कई सारे दीर्घकालिक तरीके हैं जो निम्नलिखित हैं :-

  • बिक्री पर कमीशन :- यह एक ऐसा व्यवसाय है जहां पर यदि उद्यमी कलाकार द्वारा बनाई गई कलाकृतियों को बेचता है तो उसे उन पर कुछ प्रतिशत कमीशन प्राप्त होता है वह उनका पैसे कमाने का अच्छा जरिया होता है.
  • किराया फीस :- आर्ट गैलरी बिज़नस एक ऐसा बिज़नस है जहाँ कलाकार अपनी कलाकृतियों का प्रदर्शन कर लोगों को अपनी कला से अवगत कराते हैं. किन्तु इसके लिए उन्हें आर्ट गैलरी शॉप में जाकर खुद की कला का प्रदर्शन करने के लिए कुछ किराया देना होता है. इससे आर्ट गैलरी बिज़नसमेन पैसे कमाते हैं.
  • आयोजन :- कुछ उद्यमी इस व्यवसाय में आयोजन करके भी पैसा कमाते हैं. जिसमें वे दूसरों की कलाकृतियों की प्रदर्शनी लगाने के लिए किराया लेते हैं जिससे उनका दीर्घकालिक लाभ निश्चित है.

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आर्ट गैलरी व्यवसाय से मिलने वाला लाभ (Profit)

  • आर्ट गैलरी से आप तभी प्रॉफिट कमा सकते हैं जब आप कलाकारों के साथ अपने अच्छे संबंध बनाकर रखेंगे. जब कलाकारों के साथ आपके अच्छे संबंध होंगे तो वे आपको बेहतरीन कलाकृतियां बना कर देंगे ताकि आप उनसे अपने स्टोर को आकर्षित बना सके. ऐसे में आप भी अधिक प्रॉफिट कमाएंगे और कलाकारों को भी उनके काम के लिए उचित ध्यान दे सकेंगे.
  • अधिक प्रॉफिट कमाने के लिए एक उचित बाजार व्यवस्था भी उद्यमी को रखनी चाहिए ताकि एक अच्छे व्यस्त बाजार के बीच बैठकर वह अपनी कलाकृतियों को बड़े-बड़े कला प्रेमियों तक पहुंचा सके.
  • इस व्यवसाय में मात्र एक लाख के निवेश के बाद ही आप आराम से उसका डेढ़ गुना मुनाफा कमा सकते हैं. हालांकि निवेश करने से पहले कुछ जानकारी आपके पास होना आवश्यक है.

आर्ट गैलरी व्यवसाय को आरंभ करने के लिए रजिस्ट्रेशन (Registration)

आर्ट गैलरी के व्यवसाय को रजिस्टर करना बेहद आवश्यक है क्योंकि इससे आप की कलाकृति को कोई ना तो कॉपी कर सकता है और ना ही चुरा सकता है. इसके लिए आपको एक छोटी सी प्रक्रिया का पालन करना बेहद आवश्यक है.

  • जिस राज्य में आप अपनी आर्ट गैलरी आरंभ करना चाहते हैं उस राज्य के कानून के अनुसार आपको आर्ट गैलरी कॉपीराइट ऑफिस जाकर ऑफलाइन फॉर्म भरना होगा और उसके साथ एक निर्धारित मात्रा में शुल्क का भुगतान करना होगा.
  • इसके अतिरिक्त आप ऑनलाइन जाकर भी अपनी आर्ट गैलरी का रजिस्ट्रेशन कर सकते हैं. जहां पर आपको रजिस्ट्रेशन के लिए एक निर्धारित मात्रा का शुल्क भरना होगा और आपकी कलाकृतियों की आर्ट गैलरी सार्वजनिक रिकॉर्ड में सम्मिलित हो जाएगी. जिसके बाद आपकी कला-कृति को कोई भी कॉपी नहीं कर पाएगा.
  • आर्ट गैलरी व्यवसाय को खोलने के लिए आपको राज्य और संघीय करों का भुगतान करना होगा जिसके लिए आपको पहले पंजीकरण करना पड़ता है. इस व्यवसाय में कर का भुगतान करना अति आवश्यक है जिसका पंजीकरण आपको EIN संस्थान द्वारा कराना होगा, ताकि आप कर पंजीकृत करा कर अपने व्यवसाय को कानूनी तौर पर सही बना सके जिसके लिए आपको एक निर्धारित राशि का भुगतान भी करना होता है.

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आर्ट गैलरी व्यवसाय के लिए आकर्षक नाम का चयन (Choose Name)

कोई भी व्यवसाय उस व्यवसाय के नाम से चलता है जिसमें यदि कला की बात करें तो कला लोगों तक तभी पहुंच पाती है जब उस कला को एक आकर्षक नाम दिया गया हो. एक आकर्षक नाम आपके व्यवसाय को सफलता दिलाने में सहायक होता है इसलिए अपने व्यवसाय का एक ऐसा आकर्षक नाम रखें जो आपके व्यवसाय को कला प्रेमियों तक आसानी से पहुंचा सके और आपको दिन प्रतिदिन लाभ कमाने में सहायक हो सके.

आर्ट गैलरी व्यवसाय की मार्केटिंग (Marketing)

मार्केटिंग के बहुत से अलग-अलग तरीके होते हैं जिनमें से आप अपने व्यवसाय के लिए कुछ अच्छे और बेहतर विकल्प चुन सकते हैं. ताकि आपका व्यवसाय धीरे-धीरे आपके आसपास की जगह में जल्द ही प्रसारित हो जाएगा. कुछ निम्नलिखित तरीके ऐसे हैं जिनकी सहायता से आप आसानी से आर्ट गैलरी व्यवसाय में लाभ कमा सकते हैं.

  • इस व्यवसाय के लिए सर्वश्रेष्ठ मार्केटिंग विकल्प विभिन्न स्थानों पर प्रदर्शनी लगाना है जिसके जरिए आप अपनी कला को कलाप्रेमियों तक आसानी से पहुँचा सकते हैं.
  • सोशल मीडिया के जरिए भी आप अपने व्यवसाय को देश-दुनिया में फैला सकते हैं. इसके लिए आपको अपने व्यवसाय के नाम से एक अच्छी सी वेबसाइट डिजाइन करानी होगी. जिससे आपकी वेबसाइट के जरिए कला प्रेमी जल्द ही आप की कलाकृतियों तक पहुंच सकते हैं और आसानी से उन्हें खरीद सकते हैं.
  • अपनी आर्ट गैलरी स्टोर की मार्केटिंग करने के लिए आप आकर्षक पंपलेट भी छपवा कर बटवा सकते हैं जिससे आपकी दुकान के बारे में ज्यादा से ज्यादा लोग जान पाएंगे और अपनी पसंद की आर्ट लेने आपके पास पहुंच सकेंगे.
  • अपनी आर्ट से जुड़े बड़े-बड़े पोस्टर बनवा कर कुछ पब्लिक प्लेसिस पर लगवा कर आप अपने व्यवसाय की मार्केटिंग बढ़ा सकते हैं इसके जरिए आपको अधिक कस्टमर मिल सकेंगे.
  • मार्केटिंग करने का एक सरल तरीका यह भी होता है कि कुछ जाने पहचाने ब्रांड वाली कंपनियों को अपनी आर्ट गिफ्ट करें, ताकि वह अपने ऑफिस या घर पर उस आर्ट को लगा सके जिससे आपका प्रमोशन भी हो जाता है और धीरे-धीरे आपका लाभ बढ़ता रहता है.

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कहते हैं हाथ का हुनर सबसे बड़ा होता है जिसके चलते आप कभी भी और किसी भी मौसम में कमा कर खा सकते हैं. इन्हीं में से एक है आपकी आर्ट गैलरी यदि इस गैलरी को आप खूबसूरती से डिजाइन करके साज सजावट करें तो आप आसानी से कम समय में ही अधिक उपभोक्ता प्राप्त कर सकते हैं जिससे आप अपने व्यवसाय में जल्द ही लाभ कमा सकते हैं. उचित लाभ कमाने के लिए उचित योजना का होना बेहद आवश्यक है इसलिए योजना बनाए बिना कोई भी कार्य को कार्यान्वित ना करें.

FAQ

Q : आर्ट गैलरी व्यवसाय से आप कितना लाभ कमा सकते हैं ?

Ans : यदि उपभोक्ताओं को आप एक अच्छी कलाकृतियां प्रदान करने में सक्षम हो पाते हैं तो कला प्रेमी आपके साथ दीर्घकालिक समय तक जुड़ जाते हैं जिसके चलते आप सालाना 8 से 10 लाख तक की राशि का मुनाफा आराम से कमा सकते हैं.

Q : आर्ट गैलरी का मुख्य रूप से क्या कार्य होता है ?

Ans : आर्ट गैलरी मुख्य रूप से कई प्रकार की भूमिकाएं निभाती हैं जिनमें से सबसे पहला यह है कि आर्ट गैलरी के जरिए उन कलाकारों को अपनी प्रतिभा दिखाने का अवसर मिल पाता है, जो बेहतर कलाकार होने के साथ-साथ प्रतिभावान भी होते हैं. साथ ही ऐसे कलाकारों की कलाओं को कला प्रेमियों तक पहुंचाने में भी सहायक होती है और उनको वित्तीय सहायता भी प्रदान कर सकती है.

Q : आर्ट गैलरी कैसे आरंभ की जा सकती है ?

Ans : बिज़नेस की प्लानिंग करके एवं पूंजी की व्यवस्था करके.

Q : कला प्रदर्शनी कैसे लगाई जा सकती हैं ?

Ans : सभी चीजें इकठ्ठी करने के बाद कुछ आर्ट गैलरी का व्यवसाय करने वाले लोगों से संपर्क करके सभी जानकारी हासिल करें.

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